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Best लड़कपन Shayari, Status, Quotes, Stories

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poonam atrey

#लड़कपन #बचपन #पूनमकीकलमसे #नोजोटोकविता Sunita Pathania Rameshkumar Mehra Mehra Parul (kiran)Yadav Anshu writer Ashutosh Mishra

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Insprational Qoute

पूरे दिन खेल के साथ बिताना,गुड्डे,गुड़ियों का ब्याह रचना, बन बाराती ,डोल नगाड़े ले जाते थे घोड़े हाथी, ऐसे ही था पूरा दिन मैं बिताती, खेलों के नाम तो वो भी गजब थे, आँख मिचौली ,ऊंच नीच का पहाड़,बर्फ पानी,सुनते थे परियों की कहानी, पंचतंत्र और चंपक की किताब, चाचा चौधरी के मूंछें थी वाकई नवाब, आया सावन बारिश की आई बहार, हम रज के नहाते थे और चलाते थे कागज की नाव बस ऐसा ही खूबसूरत था ये लड़कपन, #बचपन #yqbaba #yqdidi #hkkhindipoetry #अभिव्यक्ति_challange

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पूरे दिन खेल के साथ बिताना,गुड्डे,गुड़ियों का ब्याह रचना,
बन बाराती ,डोल नगाड़े ले जाते थे घोड़े हाथी,
ऐसे ही था पूरा दिन मैं बिताती,
खेलों के नाम तो वो भी गजब थे,
आँख मिचौली ,ऊंच नीच का पहाड़,बर्फ पानी,सुनते थे परियों की कहानी,
पंचतंत्र और चंपक की किताब, चाचा चौधरी के मूंछें थी वाकई नवाब,
आया सावन  बारिश की आई बहार, हम रज के नहाते थे और चलाते थे कागज की नाव
बस ऐसा ही खूबसूरत था ये लड़कपन,
पीछे छूट गया मेरा प्यारा बचपन ,
आ गई नये जमाने मे,सच पूछो तो दुनिया के फसाने में,
आज भी याद आते है बीते बचपन के किस्से दीवाने से,
अब तो बस जिंदगी जी रहे हैं या बोले कि बस जी ही रहे हैं,
कोई सुख का राग अलाप रहे हैं तो कोई दुख का राग अलाप रहे हैं,
पहले बचपन फिर लड़कपन जवानी ले गया,
वक़्त जालिम हमारी जिंदगानी ले गया,
हमे ऐसे सफर पर छोड़ गया,
न मुड़कर मेरा लड़कपन आया,
जहाँ न मुझे मिला किसी मोड़ पर मेरा सुहाना बचपन,
उसमे जीवन की यादे थी  अधिकतम,
आँखों मे लिए आँसू अब दिल जिंदगी से करता गुहार,
लौटा दो कोई अल्हड़ लड़कपन,
लौटा दो कोई आवारा बचपन,
Part-2 पूरे दिन खेल के साथ बिताना,गुड्डे,गुड़ियों का ब्याह रचना,
बन बाराती ,डोल नगाड़े ले जाते थे घोड़े हाथी,
ऐसे ही था पूरा दिन मैं बिताती,
खेलों के नाम तो वो भी गजब थे,
आँख मिचौली ,ऊंच नीच का पहाड़,बर्फ पानी,सुनते थे परियों की कहानी,
पंचतंत्र और चंपक की किताब, चाचा चौधरी के मूंछें थी वाकई नवाब,
आया सावन  बारिश की आई बहार, हम रज के नहाते थे और चलाते थे कागज की नाव
बस ऐसा ही खूबसूरत था ये लड़कपन,

Insprational Qoute

देखती हूँ जिंदगी के उस छोर में वो आवारगी के दौर में, रहते थे मजे के शोर में, वो हसीन जिंदगी के खूबसूरत लड़कपन के किस्से, अब चढ़ती उम्र में नही हैं इस जवानी के हिस्से, सुबह सुबह उठ कर दोस्तों संग मस्ती, अलग ही जमती थी अपनी गपशप की बस्ती, क्या क्या खेल हमने थे खेलें ,न कोई खास थे जिंदगी के झमेले , #बचपन #yqdidi #hkkhindipoetry #यकहिन्दी #अभिव्यक्ति_challange

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देखती हूँ जिंदगी के उस छोर में
वो आवारगी के  दौर में,
रहते थे मजे के शोर में,
वो हसीन जिंदगी के खूबसूरत लड़कपन के किस्से,
अब चढ़ती उम्र में नही हैं इस जवानी के हिस्से,
सुबह सुबह उठ कर दोस्तों संग मस्ती,
अलग ही जमती थी अपनी गपशप की बस्ती,
क्या क्या खेल हमने थे खेलें ,न कोई खास थे जिंदगी के झमेले ,
वो चवन्नी वो अठ्ठनी एक रुपये में भरते थे चीजो से पन्नी,
वो लाल ,काली चूर्ण, वो पान पराग की टॉफी,
चाय का ही नाम सुना था समझ से बाहर थी कॉफी,
वो बर्फ की जूसी, रंग बिरंगी कुल्फ़ी चूसी,
 बर्फ के गोले से लाल होंठ करते थे,बचपन की लिपस्टिक के मजे लेते थे,
गर्मी की छुट्टियों में ने नानी के घर जाना और पढ़ाई को करते थे दरकिनार,
दिन भर घूमते,, होते थे मस्ती की कस्ती में सवार,
Part-1
 देखती हूँ जिंदगी के उस छोर में
वो आवारगी के  दौर में,
रहते थे मजे के शोर में,
वो हसीन जिंदगी के खूबसूरत लड़कपन के किस्से,
अब चढ़ती उम्र में नही हैं इस जवानी के हिस्से,
सुबह सुबह उठ कर दोस्तों संग मस्ती,
अलग ही जमती थी अपनी गपशप की बस्ती,
क्या क्या खेल हमने थे खेलें ,न कोई खास थे जिंदगी के झमेले ,

Sanjeev Jha

कितने बदल गये-2
कुएं के पानी का अदहन चावल पकाता था
बड़े बाबा के पूजाथाल का पंचपात्र भराता था
दफन कुआं के कंकर आज आंखों को रुलाते हैं
लड़कपन के कई किस्से जेहन को बुलबुलाते हैं
चटाई एक थी जिस पर पढ़ाई गांव करता था
लड़ाई कम न थी पर न कोई खून का प्यासा था
चटाई टुकड़ियों में देख अंदर तक हिलाते हैं
लड़कपन के कई किस्से जेहन को बुलबुलाते हैं
क्रमशः...

©संजीव #कुएं #अदहन #पूजाथाल #पंचपात्र #लड़कपन #चटाई

#ColdMoon

Sanjeev Jha

लड़कपन के कई किस्से जेहन में घर बनाये हैं
कभी वो गांव घुमाते हैं कभी घर-घर फिराते हैं
दशहरे की कमीजों को कभी हमने निहारा था
बड़ी दादी के सीके से मौनी मटका उतारा था
वही कौड़ी वही सिक्के मुझे धनवान बनाते हैं
लड़कपन के कई किस्से जेहन में घर बनाये हैं
कनेर के पेड़ पर चढ़कर डुडुम में जोर अजमाया
लुकाछिपी में चुपके से पीठ पर धौल था खाया
बड़े भैया अभी भी चेहरे के टांके दिखाते हैं
लड़कपन के कई किस्से जेहन में घर बनाये हैं
क्रमशः....

©संजीव #लड़कपन #किस्से #कमीज #दशहरा 

#Quotes

अंकित दुबे

एक था बचपन , एक लड़कपन जिंदगी कितनी प्यारी थी
हर सपना पूरा करने की अपनी भी तैयारी थी
जीवन ने जब मोर यूँ कांटा पनघट पर हम फिसल गए
बचपन और लड़कपन त्यागा , पैसा कमाने निकल गए
अपना दाओं चला जीवन ने , अबकी अपनी बारी थी
आँख का आँशु दिख न जाए ऐसी जिम्मेदारी थी।
                          
                              ~अंकित दुबे #bachapn#jimmedari

AR Ravi

मिला हूँ मुस्कुरा कर उससे हर बार 
मगर आँखों में भी थी कुछ नमी-सी

मोहब्बत में करें क्या हाल दिल का 
ख़ुशी ही काम आती है न ग़म की 

भरी महफ़ि‍ल में हर इक से बचा कर 
तेरी आँखों ने मुझसे बात कर ली 

लड़कपन की अदा है जानलेवा 
गज़ब ये छोकरी है हाथ-भर की

है कितनी शोख़ तेज़, बहार के दिन पर 
चमन में मुस्कुहराहट कर कली की  खामोश सा अफ़साना.... #मोहब्बत #प्यार #नज़र #तीर #महफ़िल #मुस्कुराना #लड़कपन #अदा #बहार #कली #फूल #दुःखी दोस्त
#nojotoshayeri #nojotohindi #nojoto
 

Bharat Sen

#Life #लड़कपन ❤🅱❤

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लड़कपन में बिना सोचे भी मैं सच बोल देता था
छुपाया क्या, कोई पूछे, तो मुट्ठी खोल देता था ..❤🅱❤ #Life #लड़कपन ❤🅱❤


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